भारत जनसंख्या वितरण, घनत्व एवं वृद्धि
भारत जनसंख्या वितरण, घनत्व एवं वृद्धि
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भारत में जनसंख्या :-
भारत में सर्वप्रथम जनगणना – 1872 लॉर्ड लिटिल लॉर्ड मेंथे
भारत में सर्वप्रथम विधिवत जनगणना – 1881 लॉर्ड रिपन के द्वारा
1881 के बाद प्रत्येक 10 वर्षो में जनगणना कार्य होता है।
भारत की जनगणना 2011 के अनुसार 121.07 करोड़
भारत की जनसंख्या 2001 के अनुसार 102.07 करोड़
जनगणना 2011 के अनुसार भारत के तथ्य
घनत्व – 382 व्यक्ति प्रति वर्ग किलोमीटर
दशकीय जनसंख्या वृद्धि – 18.3 करोड़
दशकीय जनसंख्या वृद्धि – 17.8%
वार्षिक जनसंख्या वृद्धि दर – 1.78%
ग्रामीण जनसंख्या प्रतिशत – 68.84%
नगरीय जनसंख्या प्रतिशत – 31.16%
औसत लिंगानुपात – 940 महिलाएं प्रति 1000 पुरुष
औसत साक्षरता ; 74.04%
पुरुष साक्षरता – 82.14%
महिला साक्षरता – 65.46%
सर्वाधिक जनसंख्या वाला राज्य – उत्तर प्रदेश
न्यूनतम जनसंख्या वाला राज्य – सिक्किम
भारत में सर्वाधिक जनसंख्या घनत्व वाला राज्य – बिहार
भारत में न्यूनतम घनत्व वाला राज्य – अरुणाचल प्रदेश
भारत में सर्वाधिक दशकीय जनसंख्या वृद्धि वाला राज्य – मेघालय
भारत न्यूनतम दशकीय जनसंख्या वृद्धि वाला राज्य – नागालैंड
भारत में सर्वाधिक ग्रामीण जनसंख्या वाला राज्य -उत्तर प्रदेश
भारत में सर्वाधिक ग्रामीण जनसंख्या प्रतिशत वाला राज्य – हिमाचल प्रदेश
भारत में सर्वाधिक नगरीय जनसंख्या वाला राज्य – महाराष्ट्र
भारत में सर्वाधिक नगरीय जनसंख्या % वाला राज्य – मिजोरम
भारत में सर्वाधिक लिंगानुपात वाला राज्य – केरल
भारत में न्यूनतम लिंगानुपात वाला राज्य – हरियाणा
सर्वाधिक साक्षरता वाला राज्य – केरल
न्यूनतम साक्षरता वाला राज्य – बिहार
सर्वाधिक पुरुष साक्षरता वाला राज्य – केरल
न्यूनतम पुरुष साक्षरता वाला राज्य – बिहार
सर्वाधिक महिला साक्षरता वाला राज्य – केरल
न्यूनतम महिला साक्षरता वाला राज्य – राजस्थान
जनसंख्या घनत्व राजस्थान – 201 व्यक्ति प्रति वर्ग किलोमीटर
सर्वाधिक जनसंख्या घनत्व वाला केंद्र शासित प्रदेश – दिल्ली
न्यूनतम जनसंख्या घनत्व वाला केंद्र शासित प्रदेश – अंडमान निकोबार दीप समूह
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भारत में जनसंख्या घनत्व के प्रदेश :-
जनसंख्या घनत्व की दृष्टि से भारत को तीन प्रदेशों में बांटा गया है :-
(1) उच्च जनसंख्या घनत्व वाले क्षेत्र
(2) मध्यम जनसंख्या घनत्व वाले क्षेत्र
(3) निम्न जनसंख्या घनत्व वाले क्षेत्र
उच्च जनसंख्या घनत्व वाले क्षेत्र :-
इनमें उन क्षेत्रों को शामिल किया जाता है, जिनका जनसंख्या घनत्व 500 व्यक्ति प्रति वर्ग किलोमीटर से अधिक होता है। इसमें उत्तरी मैदान, दक्षिणी भारत का मालाबार तट तथा डेल्टाई क्षेत्र आते हैं। जैसे- पश्चिमी बंगाल, बिहार, उत्तर प्रदेश, हरियाणा, तमिलनाडु आदि राज्य।
मध्यम जनसंख्या घनत्व वाले क्षेत्र :-
इसमें उन क्षेत्रों को शामिल किया जाता है जिनका जनसंख्या घनत्व 300 से 500 व्यक्ति प्रति वर्ग किलोमीटर के मध्य होता है। इनमें महाराष्ट्र, गुजरात, तेलंगना, आंध्र प्रदेश आदि राज्य शामिल किये जाते हैं।
निम्न जनसंख्या घनत्व वाले क्षेत्र :-
इनमें उन क्षेत्रों को शामिल किया जाता है, जिनका जनसंख्या घनत्व 300 व्यक्ति प्रति वर्ग किलोमीटर से कम होता है। उत्तरी-पूर्वी हिमालय, पश्चिमी राजस्थान, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, उड़ीसा, अरुणाचल प्रदेश राज्य शामिल किए जाते हैं।
जनसंख्या वृद्धि 1901 से 2011 के मध्य जनसंख्या वृद्धि को चार अवस्थाओं में बांटा जा सकता है। इसे भारत की जनसंख्या वृद्धि की अवस्थाएं कहते हैं।
(1) मंद वृद्धि का काल (1901 से 1921) :- इस अवधि में जनसंख्या वृद्धि अति निम्न रही। इस काल में जन्म दर से मृत्यु दर अधिक होने के कारण जनसंख्या में नकारात्मक वृद्धि रही। इसका प्रमुख कारण अकाल, महामारी तथा खाद्यान्न का अभाव था। 1911 से 1921 का दशक नकारात्मक जनसंख्या वृद्धि का रहा।
(2) स्थिर वृद्धि का काल (1921 से 1951) :- वर्ष 1921 भारतीय जनसंख्या विकास में एक महान जनांकिकीय विभाजक वर्ष कहा जाता है। इस समय अवधि में जनसंख्या स्थिर रही, इसका प्रमुख कारण अकाल तथा महामारी पर नियंत्रण होने से मृत्यु दर में कमी आई।
(3) तीव्र वृद्धि का काल (1951 से 1981):- वर्ष 1951 को द्वितीयक जनांकिकीय विभाजक कहा जाता है। इसके बाद जनसंख्या में तीव्र वृद्धि प्रारंभ हुई। इसका प्रमुख कारण स्वास्थ्य सेवाओं सुविधाओं में सुधार तथा विकास कार्यो में तेजी था।
(4) घटती वृद्धि का काल (1981 से 2011) :- वर्ष 1981 से 2011 का समय घटती वृद्धि का रहा। क्योंकि 1981 से 1991 के दौरान जन्म दर कम पाई गई जिसका प्रमुख कारण परिवार नियोजन कार्यक्रम की सफलता तथा छोटे परिवार अपनाने की प्रेरणा रहा।
भारत में जनसंख्या वृद्धि के क्षेत्र :-
वर्ष 2001 से 2011 के मध्य जनसंख्या के आंकड़ों के विश्लेषण से तीन प्रकार के क्षेत्र दिखाई देते हैं।
(1) तीव्र जनसंख्या वृद्धि के क्षेत्र :- इसमें वह क्षेत्र शामिल हैं जिनमें दशकीय जनसंख्या वृद्धि दर 30% से अधिक रही। इसमें मुख्य रूप से केंद्र शासित प्रदेश दादर, नगर हवेली तथा दमन व दीव शामिल होते हैं।
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(2) मध्यम जनसंख्या वृद्धि क्षेत्र :- इनमें वह क्षेत्र शामिल किए जाते हैं जिनकी दशकीय जनसंख्या वृद्धि दर 20 % से 30% के मध्य रही। इनमें बिहार, जम्मू और कश्मीर, झारखंड, मध्य प्रदेश, मेघालय, मिजोरम, राजस्थान, दिल्ली आदि शामिल है।
(3) कम जनसंख्या वृद्धि क्षेत्र :- इनमें वे क्षेत्र शामिल किए जाते हैं, जिनकी दशकीय जनसंख्या वृद्धि दर 20% से कम रही। इनमें असम, आंध्र प्रदेश, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, केरल, कर्नाटक राज्य शामिल है।
अन्य तथ्य :-
(1) 2011 जनगणना भारत की 15वीं जनगणना है।
(2) स्वतंत्र भारत की प्रथम जनगणना 1951 मे हुई।
(3) स्वतंत्रता के बाद 2011 जनगणना 7वीं जनगणना है।
(4) 2011 जनगणना का स्लोगन ” हमारी जनगणना, हमारा भविष्य”
जनगणना नगर :-
जनगणना नगर उसे कहेंगे जहां की जनसंख्या 5000 या उससे अधिक हो, जनसंख्या घनत्व 400 व्यक्ति प्रति वर्ग किलोमीटर तथा 75% जनसंख्या गैर कृषि कार्य करती हैं।
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