कक्षा 9 पाठ 13 पर्यावरण

कक्षा 9 पाठ 13 पर्यावरण

कक्षा 9  पाठ 13 पर्यावरण

प्रश्न 1. पर्यावरण शब्द का अर्थ स्पष्ट कीजिए?
उत्तर पर्यावरण शब्द एक अंग्रेजी शब्द इनवाइरनमेन्ट का हिंदी पर्याय है। इसका शाब्दिक अर्थ है चारों / सभी ओर से खेलने वाला।
( परी = चारों ओर)+ (आवरण = घेरा / घेरने वाला)
प्रश्न 2. पारिस्थितिकी क्या है ?
उत्तर पर्यावरण और जीवधारियों की परस्पर क्रियाओं के अध्ययन से संबंधित विज्ञान को पारिस्थितिकी कहते हैं।
प्रश्न 3. पर्यावरण के प्रमुख घटकों के नाम बताकर इसके उपसंकलों के नाम भी बताइए?
उत्तर जीवधारी को आवृत करने वाले वर्तमान पर्यावरण के भौतिक, रासायनिक, जैविक ,वैज्ञानिक तथा औद्योगिक घटकों को निम्नलिखित तीन उपसंकलों में विभाजित किया जा सकता है ।
1.अजैविक उपसंकुल
2. जैविक उपसंकुल
3.वैज्ञानिक तथा प्रौद्योगिकी उपसंकुल

प्रश्न 4. पर्यावरण के प्रमुख घटकों के नाम बताइए ?
उत्तर पर्यावरण के अंतर्गत 1.जैविक घटक 2.अजैविक घटक आते हैं।
जैविक घटकों में प्राणी, पादप ,सूक्ष्मजीव एवं मानव सम्मिलित है।
जबकि अजैविक घटकों में वायु, जल , मृदा, तापक्रम, आद्रता, स्थलाकृति आदि आते हैं।
प्रश्न 5. प्रदूषण को कितनी श्रेणियों में बांटा गया है ?
उत्तर प्रदूषण को दो श्रेणियों में विभाजित कर सकते हैं।
1. जिससे पर्यावरण के भौतिक और रासायनिक घटकों में मानव के लिए हानिकारक परिवर्तन हो जाते हैं।
तथा 2. जिसमें आधुनिक, औद्योगिक एवं प्रौद्योगिक मानव की गतिविधियों द्वारा पर्यावरण में कुछ नए पदार्थ शामिल हो जाते हैं।
प्रश्न 6. वायु प्रदूषण के कारक, प्रभाव , नियंत्रण के उपाय लिखिए?
उत्तर * वायु प्रदूषण के कारण :–
1.जंगल की आग
2.ब्रह्मांडीय रज
3.कच्छीय गैसें
4. पराग , बिजाणु आदि एलर्जी कारक
5. निलंबित कणीय पदार्थ
6.औद्योगिक उत्सर्ग
7.मोटर वाहन उत्सर्ग
8. घरेलू उत्सर्ग
9. जीवाश्म इधनों के जलने से उत्पन्न धुँआ
10.कृषि में प्रयुक्त पदार्थ एवं कृषि क्रियाएं।
* वायु प्रदूषण के प्रभाव :–
1. सल्फर डाइऑक्साइड = इससे वक्ष संकुचन , सिर दर्द , उल्टी होती है। इससे होने वाले विकार मृत्यु का भी कारण बन सकते हैं।
2. नाइट्रोजन के ऑक्साइड = ये पक्ष्मों की क्रिया को रोकते हैं। अतः कालिक तथा धूल कण फेफड़ों की गहराई में पहुंच जाते हैं। जिससे श्वसन में विकार उत्पन्न होता है ।
3. हाइड्रोजन सल्फाइड = यह आंखों तथा गले में जलन उत्पन्न करती है , तथा मितली आती है ।
4.कार्बन मोनोऑक्साइड = यह रक्त की ऑक्सीजन वह क्षमता को कम करती है , तथा इससे थकान आती है।
5. हाइड्रोजन सायनाइड = यह तंत्रिका कोशिकाओं को प्रभावित करती है ।इससे गले का सूखना, अस्पष्ट दृष्टि तथा सरदर्द आदि प्रभावित होते हैं।
6. अमोनिया= यह ऊपरी श्वसन मार्ग में सूजन उत्पन्न करता है।
* वायु प्रदूषण के नियंत्रण के उपाय :–
1. शहरीकरण की प्रक्रिया को रोकने के लिए गांवों व कस्बों में ही रोजगार व कुटीर उद्योगों व अन्य सुविधाओं को उपलब्ध करना चाहिए ।
2. जनसंख्या शिक्षा की उचित व्यवस्था की जाए ताकि जनसंख्या वृद्धि को बढ़ने से रोका जा सकता है।
3. शहरों, नगरों में अवशिष्ट पदार्थों के निष्कासन हेतु सीवरेज को सभी जगह बढ़ावा देना चाहिए ।
4. चुल्हे व सौर ऊर्जा की तकनीकी को प्रोत्साहित कर इसे और ज्यादा उन्नत एवं सुलभ बनाना चाहिए।
5. वाहनों में ईंधन से निकलने वाले धुएं को ऐसे समायोजित करना होगा , जिससे कि कम से कम धुंआ बाहर निकले
प्रश्न 7. जल प्रदूषण के कारण प्रभाव एवं नियंत्रण के उपाय बताइए?
उत्तर * जल प्रदूषण के कारण :–
1.पशुओं को तालाब में नहलाना
2. तालाब में कपड़े धोना
3. फैक्ट्रियों के अपशिष्ट पदार्थ तालाब में डालना 4.तालाब एवं नदी में कूड़ा कचरा डालना ।
* जल प्रदूषण के प्रभाव :–
1. दूषित जल के पीने के कारण कई बीमारियां होती है ।
2.घरेलू वाहित मल द्वारा प्रदूषित जल के कारण हैजा, टाइफाइड, डायरिया , पैराटाइफाइड ,अतिसार ,पीलिया आदि महामारी या मनुष्य में संक्रमित हो जाती है ।
* जल प्रदूषण के नियंत्रण के उपाय :–
1. प्राकृतिक वनस्पति का संरक्षण
2. नदियों में मल मूत्र न त्याग कर
3.लकुंभी द्वारा
4. मूल क्षेत्र उपचार तकनीक द्वारा।
प्रश्न 8. मृदा प्रदूषण का महत्व बताकर ,इसके कारण को समझाइए।
उत्तर मृदा प्रदूषण :– मृदा स्थलमंडल का वह भाग है जो वायुमंडल, जलमंडल तथा जीवमंडल से अन्य क्रियाएं करता है। इस प्रकार मृदा थलीय जीवधारियों की सभी मौलिक आवश्यकताओं को पूरा करती है । मृदा स्थलीय पदार्थों को आवश्यक पोषण उपलब्ध कराती है, जो जैविक पदार्थ उत्पन्न करते हैं। जिससे मनुष्य को रोटी , कपड़ा और मकान के रूप में मूलभूत आवश्यकता की पूर्ति होती है।
* मृदा प्रदूषण के कारण:–
* औद्योगिक उत्सर्ग = उद्योगों के ठोस तथा तरल उत्सर्ग को उन – उपचारित रूप मे ही मृदा पर फैला दिया जाता है।
* नगरीय उत्सर्ग = कागज, काँच, धात्विक प्लास्टिक रेशे, खाद्य अपशिष्ट ,रबर, रंजक ,पेण्ट आदि ठोस नगरीय उत्सर्ग है , जो मृदा को अनेक प्रकार से संदूषित कर उसको बड़े पैमाने पर प्रदूषण उत्पन्न करते हैं।
* कृषि गतिविधियां = रासायनिक उर्वरकों का अविवेकपूर्ण अंधाधुंध उपयोग तथा अतिशय सिंचाई से मृदा जल आक्रांत होती है, और उसके पोषकों का अपक्षालन होती है इससे मृदा की उर्वरता नष्ट होती है।
प्रश्न 9. प्रकृति में पाए जाने वाले जल चक्र का सचित्र वर्णन करो?
उत्तर जलाशयों से जल के वाष्पीकरण और फिर संघनन के बाद वर्षा होती है। लेकिन हमने समुंद्रो और महासागरों को सूखते हुए नहीं देखा है । जल इस प्रक्रिया को जिसके द्वारा जल ,जल वाष्प बनता है , और वर्षा के रूप में सतह पर गिरता है , और फिर नदियों के द्वारा समुंद्र में पहुंच जाता है, इसे जलीय चक्र कहते हैं। यह चक्र उतना आसान और सरल नहीं है , जैसा कि वक्तव्य से प्रतीत होता है। वह सारा जल जो पृथ्वी पर गिरता है, तुरंत समुंद्र में नहीं जाता है । इसमें से कुछ मृदा के अंदर चला जाता है, और भूजल का हिस्सा बन जाता है। कुछ भूजल झरनों द्वारा सतह पर आ जाता है, या हम इसे अपने व्यवहार के लिए कुपों और नलकूपों की मदद से सतह पर लाते हैं। जीवन की विभिन्न क्रियाओं में स्थलीय जीव जंतु और पौधे इस जल का उपयोग करते हैं।

प्रश्न 10. दो प्रमुख गैसीय प्रदूषकों के नाम लिखो ?
उत्तर मीथेन और अमोनिया।
प्रश्न 11. ध्वनि प्रदूषण को परिभाषित करो ?
उत्तर सामान्य से अधिक तीव्रता की ध्वनि से उत्पन्न प्रभाव को ध्वनि प्रदूषण कहते हैं।
प्रश्न 12. वैश्विक उष्मीकरण क्या है?
उत्तर कार्बन डाइऑक्साइड भी इसी की एक ग्रीन हाउस गैस है। वायुमंडल में विद्यमान कार्बन डाइऑक्साइड में वृद्धि से वायुमंडल में ऊष्मा की वृद्धि होती है। उसे वैश्विक उष्मीकरण कहते हैं।
प्रश्न 13. नाइट्रोजन चक्र का आरेखीय वर्णन करो।

उत्तर हमारे वायुमंडल का लगभग 78% भाग नाइट्रोजन गैस है। यह गैस जो जीवन के लिए आवश्यक बहुत सारे अणुओं का भाग है। जैसे प्रोटीन, न्यूक्लिक हाउस, डी.एन.ए. और आर.एन.ए तथा कुछ विटामिन। नाइट्रोजन दूसरे जैविक योगिकों में भी पाया जाता है। जैसे- एल्केलाइड तथा यूरिया।
इसलिए नाइट्रोजन सभी प्रकार के जीवों के लिए एक आवश्यक पोषक है। सभी जीवरूपो द्वारा वायुमंडल में उपस्थित नाइट्रोजन गैस के प्रत्यक्ष उपयोग से जीवन सरल हो जाएगा लेकिन प्रकृति में ऐसा नहीं होता है। यद्यपि कुछ प्रकार के बैक्टीरिया को छोड़कर दूसरे जीवरूप निष्क्रिय नाइट्रोजन परमाणुओं को नाइट्रेट्स तथा वाइट्इड् जैसे दूसरे आवश्यकता अणुओ में बदलने में सक्षम नही है।
प्रश्न 14. ग्रीन हाउस ग्रीन हाउस प्रभाव क्या है?
उत्तर शीशे द्वारा ऊष्मा को रोक लेने के कारण शीशे के अंदर का तापमान बाहर के तापमान से काफी अधिक हो जाता है । ठंडे मौसमों में उष्णकटिबंधीय पौधों को गर्म रखने के लिए आवरण बनाने की प्रक्रिया में इस अवधारणा का उपयोग किया गया है । इस प्रकार के आवरण को ग्रीनहाउस कहते हैं। वायुमंडलीय प्रक्रियाओं में भी ग्रीन हाउस होता है। कुछ गैसे पृथ्वी से उष्मा को पृथ्वी के वायुमंडल में जाने से रोकती है।
वायु मंडल में विद्यमान इस प्रकार की गैसों की वृद्धि संसार के औसत तापमान को बढ़ा देती है इस प्रकार के प्रभाव को ग्रीन हाउस प्रभाव कहते हैं।
प्रश्न 15. पारिस्थितिकी शब्द को परिभाषित करो?
उत्तर पर्यावरण अध्ययन, पारिस्थितिकी के अंतर्गत आता है। इस शब्द की उत्पत्ति ग्रीक भाषा के ओइकोस शब्द से हुई है, जिसका अर्थ है – रहने का स्थान। एवं लोगोस शब्द का अर्थ है – अध्ययन करना। अर्थात सजीवों के रहने के स्थान का अध्ययन करना ।
अरनेस्ट हेकल 1868 के अनुसार :–“पारिस्थितिकी सजीवों का इसके अजैविक एवं जैविक पर्यावरण के साथ होने वाला पारस्परिक संबंध है।”
प्रश्न 16. कृत्रिम पारिस्थितिकी तंत्र क्या है? उदाहरण दीजिए।
उत्तर यह तंत्र पूर्ण रूप से मनुष्य द्वारा निर्मित एवं नियंत्रित होते हैं । जैसे शस्यभूमि जिसमे गेहूं, बाजरा एवं चावल इत्यादि के क्षेत्र आते हैं । यहां मनुष्य जैव समुदाय एवं भौतिक रासायनिक कारकों को नियंत्रित करने का प्रयास करता है। उपरोक्त तंत्रों के अतिरिक्त अंतरिक्ष पारिस्थितिकी तंत्र को भी पहचाना गया है ।
प्रश्न 17. अपघटक क्या है ?
उत्तर इसमे मुख्य रूप से जीवाणु एवं कवक आते हैं। पारिस्थितिकी तंत्र में सामान्यतया बैक्टीरिया जंतु उत्तको पर , जबकि कवक पादप उत्तको पर क्रिया करते हैं ।
प्रश्न 18. तापीय प्रदूषण से उत्पन्न रासायनिक दशाएं बताइए ।
उत्तर 1.रासायनिक ऑक्सीजन मांग में वृद्धि
2. जैविक ऑक्सीजन मांग में वृद्धि
3. विषाक्तता में वृद्धि।

Notes In Hindi

नींव की ईंट – रामवृक्ष बेनीपुरी

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