कक्षा 10 विज्ञान 5.4.1 मानव में वहन
मानव में वहन (Transport in Humans)
- रुधिर का कार्य:
- रुधिर भोजन, ऑक्सीजन, और वर्ज्य पदार्थों का शरीर में वहन करता है।
- यह एक तरल संयोजी ऊतक है जिसमें तरल माध्यम (प्लाज्मा) होता है।
- प्लाज्मा का कार्य:
- प्लाज्मा भोजन, कार्बन डाइऑक्साइड, और नाइट्रोजनी वर्ज्य पदार्थों का वहन करता है।
- इसमें कोशिकाएँ निलंबित होती हैं।
- लाल रुधिर कणिकाएँ (RBCs):
- ऑक्सीजन का वहन लाल रुधिर कणिकाओं द्वारा किया जाता है।
- यह शरीर के विभिन्न अंगों तक ऑक्सीजन पहुँचाती हैं।
- रुधिर का प्रवाह:
- रुधिर का शरीर में प्रवाह नलियों के एक परिपथ के माध्यम से होता है, जिसे हृदय धकेलता है।
- यदि कहीं कोई टूट-फूट होती है, तो मरम्मत तंत्र इसे ठीक करता है।
- हृदय का कार्य:
- हृदय एक पेशीय अंग है, जो रक्त को पंप करता है।
- ऑक्सीजनित और विडिऑक्सीजनित रक्त को अलग रखने के लिए हृदय कई कक्षों में विभाजित होता है।
- फुफ्फुस (Lungs):
- रक्त को फुफ्फुस में ऑक्सीजनित किया जाता है और फिर इसे हृदय में वापस लाया जाता है।
- रक्त प्रवाह प्रक्रिया:
- ऑक्सीजन युक्त रक्त बाएँ आलिंद में आता है, फिर बाएँ निलय में पंप होता है और शरीर के अंगों में भेजा जाता है।
- विडिऑक्सीजनित रक्त दाएँ आलिंद में आता है और दाएँ निलय से फुफ्फुस में पंप होता है।
- दोहरा परिसंचरण (Double Circulation):
- मछलियों के शरीर में रक्त का एकल परिसंचरण होता है, जबकि अन्य कशेरुकी जीवों में दोहरा परिसंचरण होता है।
- रक्तदाब (Blood Pressure):
- धमनी की दीवारों के विरुद्ध रक्त का दबाव रक्तदाब कहलाता है।
- सामान्य रक्तदाब: प्रकुंचन दाब 120 mmHg और विश्रांति दाब 80 mmHg।
- रुधिर वाहिकाएँ (Blood Vessels):
- धमनियाँ रक्त को हृदय से अंगों तक ले जाती हैं, और शिराएँ रक्त को वापस हृदय में लाती हैं।
- केशिकाएँ (Capillaries) पदार्थों के विनिमय में सहायक होती हैं।
- प्लेटलेट्स का कार्य:
- प्लेटलेट्स रक्त का थक्का बनाकर चोट लगने पर रक्तस्राव रोकते हैं।
- लसिका (Lymph):
- लसिका ऊतकों में अतिरिक्त तरल का वहन करती है और इसे रक्त में वापस लाती है।
- यह रंगहीन तरल होता है और वसा का वहन भी करता है।
Answer
Answer: (A) प्लाज्मा
Answer
Answer: (C) लाल रुधिर कणिकाएँ
Answer
Answer: (B) कार्बन डाइऑक्साइड और नाइट्रोजनी वर्ज्य
Answer
Answer: (B) रुधिर को पंप करना
Answer
Answer: (A) 4
Answer
Answer: (B) शरीर के ऊपरी और निचले हिस्से से
Answer
Answer: (A) रुधिर को शरीर में पंप करता है
Answer
Answer: (C) ऑक्सीजन ग्रहण करना
Answer
Answer: (B) धमनियों पर रुधिर का दाब
Answer
Answer: (A) 120 mm
Answer
Answer: (A) धमनियों का सिकुड़ना
Answer
Answer: (A) रुधिर को हृदय से शरीर के विभिन्न अंगों तक ले जाना
Answer
Answer: (B) विऑक्सीजनित रुधिर
Answer
Answer: (C) पदार्थों का विनिमय करना
Answer
Answer: (C) प्लेटलेट्स
Answer
Answer: (C) वसा और अतिरिक्त तरल का वहन
Answer
Answer: (A) प्रोटीन
Answer
Answer: (A) रुधिर का थक्का बनाना
Answer
Answer: (B) दायाँ अलिंद
Answer
Answer: (C) स्तनधारियों
- रुधिर में तरल माध्यम को __ कहते हैं।
उत्तर: प्लाज्मा - ऑक्सीजन का वहन __ द्वारा किया जाता है।
उत्तर: लाल रुधिर कणिकाएँ - हृदय में कुल __ कोष्ठ होते हैं।
उत्तर: 4 - धमनियाँ रुधिर को __ से शरीर के विभिन्न अंगों तक ले जाती हैं।
उत्तर: हृदय - केशिकाएँ __ का विनिमय करती हैं।
उत्तर: पदार्थों - रुधिर का थक्का बनने में __ मदद करती हैं।
उत्तर: प्लेटलेट्स - वसा और अतिरिक्त तरल का वहन __ द्वारा किया जाता है।
उत्तर: लसिका - रुधिर दाब को मापने की इकाई __ होती है।
उत्तर: mmHg (मिलीमीटर पारा) - हृदय के __ में विऑक्सीजनित रुधिर आता है।
उत्तर: दाएँ अलिंद - फुफ्फुसों में रुधिर __ ग्रहण करता है।
उत्तर: ऑक्सीजन
- रुधिर में कौन सा तरल माध्यम होता है?
उत्तर: प्लाज्मा - हृदय की कुल कितनी कोशिकाएँ होती हैं?
उत्तर: 4 - रुधिर का कौन सा घटक थक्के बनाने में मदद करता है?
उत्तर: प्लेटलेट्स - ऑक्सीजन का मुख्य वाहक क्या है?
उत्तर: लाल रुधिर कणिकाएँ - रुधिर को धमनियों द्वारा किस ओर ले जाया जाता है?
उत्तर: शरीर के अंगों - केशिकाएँ किसका विनिमय करती हैं?
उत्तर: पदार्थ - हृदय के दाएँ अलिंद में किस प्रकार का रुधिर होता है?
उत्तर: विऑक्सीजनित - रुधिर दाब की मापने की इकाई क्या है?
उत्तर: mmHg - फुफ्फुसों में रुधिर क्या ग्रहण करता है?
उत्तर: ऑक्सीजन - रुधिर के थक्के बनने की प्रक्रिया को क्या कहते हैं?
उत्तर: थ्रॉम्बोसिस
- रुधिर क्या है और इसके मुख्य घटक कौन से हैं?
उत्तर: रुधिर एक तरल संयोजी ऊतक है जो शरीर में पोषक तत्वों, गैसों, और अपशिष्ट उत्पादों का परिवहन करता है। इसके मुख्य घटक हैं: लाल रुधिर कणिकाएँ, सफेद रुधिर कणिकाएँ, प्लेटलेट्स, और प्लाज्मा। - रुधिर में ऑक्सीजन का परिवहन किस प्रकार होता है?
उत्तर: रुधिर में ऑक्सीजन का परिवहन मुख्यतः लाल रुधिर कणिकाओं द्वारा किया जाता है, जो कि हेमोग्लोबिन नामक प्रोटीन के साथ मिलकर ऑक्सीजन के अणुओं को बांधता है। - हृदय की संरचना में कितने भाग होते हैं और वे क्या हैं?
उत्तर: हृदय की संरचना में चार भाग होते हैं: दाएं अलिंद, दाएं ventricule, बाएं अलिंद, और बाएं ventricule। - रुधिर दाब क्या होता है और इसे कैसे मापा जाता है?
उत्तर: रुधिर दाब वह दबाव होता है जो रुधिर रक्तवाहिकाओं की दीवारों पर डालता है। इसे आमतौर पर mmHg में मापा जाता है, और इसे स्फिग्मोमैनोमीटर से मापा जाता है। - केशिकाएँ किस प्रकार के रक्त और अन्य पदार्थों का विनिमय करती हैं?
उत्तर: केशिकाएँ ऑक्सीजन और पोषक तत्वों का शरीर की कोशिकाओं के साथ विनिमय करती हैं और कार्बन डाइऑक्साइड और अन्य अपशिष्ट उत्पादों को वापस रक्त में लाती हैं। - रुधिर की कुल मात्रा मानव शरीर में लगभग कितनी होती है?
उत्तर: मानव शरीर में रुधिर की कुल मात्रा लगभग 5-6 लीटर होती है। - रुधिर के थक्के बनने की प्रक्रिया का मुख्य उद्देश्य क्या है?
उत्तर: रुधिर के थक्के बनने की प्रक्रिया का मुख्य उद्देश्य रक्तस्राव को रोकना और घावों को भरना है। - रुधिर के सफेद कणिकाएँ किस काम के लिए महत्वपूर्ण हैं?
उत्तर: सफेद रुधिर कणिकाएँ शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली का हिस्सा होती हैं और संक्रमण से लड़ने में मदद करती हैं। - हृदय के पंपिंग कार्य को नियंत्रित करने वाला तंत्र क्या है?
उत्तर: हृदय के पंपिंग कार्य को नियंत्रित करने वाला तंत्र “सिनस नोड” कहलाता है, जिसे प्राकृतिक पेसमेकर भी कहा जाता है। - रुधिर में थक्के बनाने वाले घटक कौन से हैं?
उत्तर: रुधिर में थक्के बनाने वाले घटक प्लेटलेट्स और विभिन्न क्लॉटिंग फैक्टर्स होते हैं।
1. प्रश्न: रुधिर (Blood) की संरचना और उसके मुख्य घटकों का विवरण करें।
उत्तर:
रुधिर एक तरल संयोजी ऊतक है, जो शरीर के विभिन्न अंगों और ऊतकों में पोषक तत्वों, गैसों, हार्मोनों, और अपशिष्ट उत्पादों का परिवहन करता है। रुधिर की संरचना मुख्य रूप से चार घटकों से मिलकर बनी होती है:
- प्लाज्मा:
प्लाज्मा रुधिर का तरल भाग है, जो लगभग 55% की मात्रा को कवर करता है। इसमें पानी, प्रोटीन, इलेक्ट्रोलाइट्स, हार्मोन्स, और अपशिष्ट उत्पाद होते हैं। प्लाज्मा का मुख्य कार्य पोषक तत्वों और अपशिष्टों का परिवहन करना है। - लाल रुधिर कणिकाएँ (Red Blood Cells):
ये कणिकाएँ रुधिर की 40-45% मात्रा को बनाती हैं। इनका मुख्य कार्य ऑक्सीजन का परिवहन करना है, जो कि हेमोग्लोबिन नामक प्रोटीन द्वारा किया जाता है। हेमोग्लोबिन ऑक्सीजन को फेफड़ों से शरीर के अन्य अंगों तक ले जाता है। - सफेद रुधिर कणिकाएँ (White Blood Cells):
ये कणिकाएँ रुधिर की छोटी मात्रा का हिस्सा होती हैं, लेकिन इनका कार्य अत्यधिक महत्वपूर्ण है। सफेद रुधिर कणिकाएँ शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली का हिस्सा होती हैं और संक्रमण से लड़ने में मदद करती हैं। - प्लेटलेट्स:
प्लेटलेट्स रुधिर के थक्के बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। जब शरीर में चोट लगती है, तो प्लेटलेट्स सक्रिय होकर रक्तस्राव को रोकने में मदद करती हैं।
रुधिर की संरचना और इसके घटकों की सही कार्यप्रणाली मानव स्वास्थ्य के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है, क्योंकि ये सभी घटक मिलकर शरीर की सामान्य क्रियाओं को बनाए रखते हैं।
2. प्रश्न: रुधिर दाब (Blood Pressure) और इसके महत्व पर विस्तार से चर्चा करें।
उत्तर:
रुधिर दाब वह दबाव होता है, जो रुधिर रक्तवाहिकाओं की दीवारों पर डालता है। इसे आमतौर पर मिमी एचजी (mmHg) में मापा जाता है और इसे स्फिग्मोमैनोमीटर का उपयोग करके मापा जाता है। रुधिर दाब का सामान्य मान 120/80 mmHg होता है, जहाँ 120 संकुचन दाब (Systolic Pressure) और 80 विश्राम दाब (Diastolic Pressure) को दर्शाता है।
रुधिर दाब का महत्व निम्नलिखित है:
- ऑक्सीजन और पोषक तत्वों का प्रवाह:
उच्च रुधिर दाब शरीर के विभिन्न अंगों में ऑक्सीजन और पोषक तत्वों का प्रभावी रूप से प्रवाह सुनिश्चित करता है। - अपशिष्ट उत्पादों का निपटान:
रुधिर दाब अपशिष्ट उत्पादों को शरीर से बाहर निकालने में भी मदद करता है, जो कि शरीर की सामान्य क्रियाओं के लिए आवश्यक है। - रोगों की पहचान:
अनियमित रुधिर दाब उच्च रक्तचाप (Hypertension) या निम्न रक्तचाप (Hypotension) जैसी बीमारियों का संकेत हो सकता है, जो स्वास्थ्य के लिए गंभीर हो सकते हैं। - हृदय स्वास्थ्य:
सामान्य रुधिर दाब हृदय के लिए भी महत्वपूर्ण है, क्योंकि अत्यधिक उच्च या निम्न दाब हृदय संबंधी समस्याओं का कारण बन सकता है।
इस प्रकार, रुधिर दाब का संतुलन बनाए रखना मानव स्वास्थ्य के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है। नियमित जांच और स्वस्थ जीवनशैली को अपनाना रुधिर दाब को सामान्य बनाए रखने में मदद कर सकता है।
3. प्रश्न: हृदय की संरचना और उसके कार्यों का वर्णन करें।
उत्तर:
हृदय एक मांसपेशीय अंग है, जो रक्त को संकुचित करके शरीर के विभिन्न भागों में पहुंचाता है। यह मानव शरीर का केंद्रीय पंप होता है और इसकी संरचना में चार प्रमुख भाग होते हैं:
- दाएं अलिंद (Right Atrium):
यह भाग शरीर से लौटने वाले ऑक्सीजन रहित रक्त को प्राप्त करता है। यह रक्त वायुमार्ग द्वारा फेफड़ों में भेजा जाता है। - दाएं ventricule (Right Ventricle):
दाएं अलिंद से रक्त दाएं ventricule में जाता है, जहाँ से यह रक्त फेफड़ों की ओर जाता है ताकि ऑक्सीजन प्राप्त कर सके। - बाएं अलिंद (Left Atrium):
ऑक्सीजन से भरपूर रक्त फेफड़ों से लौटकर बाएं अलिंद में आता है। यह रक्त बाएं ventricule की ओर जाता है। - बाएं ventricule (Left Ventricle):
बाएं ventricule का कार्य ऑक्सीजन युक्त रक्त को पूरे शरीर में पंप करना है। यह हृदय का सबसे मजबूत भाग होता है।
हृदय की कार्यप्रणाली निम्नलिखित है:
- पंपिंग कार्य:
हृदय संकुचन और विश्राम के माध्यम से रक्त को पंप करता है। इसका संकुचन चरण (सिस्टोल) रक्त को धमनियों में भेजता है, जबकि विश्राम चरण (डायस्टोल) में हृदय रक्त को भरता है। - गति नियंत्रण:
हृदय का प्राकृतिक पेसमेकर, सिनस नोड, हृदय की धड़कन को नियंत्रित करता है और इसे नियमित रूप से धड़कने में मदद करता है। - रक्त संचार:
हृदय शरीर में रक्त संचार को नियंत्रित करता है, जो कि सभी अंगों में ऑक्सीजन और पोषक तत्वों का प्रवहन सुनिश्चित करता है।
इस प्रकार, हृदय की संरचना और इसके कार्य मानव स्वास्थ्य के लिए अत्यधिक महत्वपूर्ण हैं। नियमित व्यायाम और संतुलित आहार हृदय स्वास्थ्य को बनाए रखने में सहायक होते हैं।